उत्तराखंडताज़ा ख़बरेंदेहरादूनन्यूज़

राशनकार्ड और ड्राइविंग लाइसेंस बनवाना पड़ेगा महंगा, पांच प्रतिशत बढ़ गया यूजर चार्ज

प्रदेश में विभिन्न सरकारी विभागों की ओर से आम जन को उपलब्ध कराई जा रही सेवाओं के लिए उपयोगकर्ता शुल्क (यूजर चार्जेज) में अब हर वर्ष न्यूनतम पांच प्रतिशत की वृद्धि हो जाएगी। यह वृद्धि हर वित्तीय वर्ष के पहले दिन यानी एक अप्रैल से स्वत: लागू होगी। चालू वित्तीय वर्ष 2023-24 में इसे शुक्रवार से लागू किया गया है। यूजर चार्ज में इससे कम वृद्धि करने की स्थिति में विभाग को सरकार से अनुमति लेनी होगी। यूजर चार्ज लेने के लिए यूपीआइ सुविधा उपलब्ध कराना विभागों के लिए अनिवार्य होगा।
प्रदेश में स्थायी निवास प्रमाणपत्र, आय प्रमाणपत्र समेत अन्य प्रमाणपत्र, नया राशनकार्ड, विभिन्न लाइसेंस बनवाने या नवीनीकरण, अस्पतालों में ओपीडी पंजीकरण समेत जन सेवाओं के लिए यूजर चार्जेज निर्धारित हैं। अपणि सरकार पोर्टल के माध्यम से ऐसी 400 सेवाएं आनलाइन दी जा रही हैं। सेवा का अधिकार आयोग की ओर से 48 विभागों की 655 सेवाएं अधिसूचित की गई हैं। मंत्रिमंडल ने बीती सात जुलाई को यूजर चार्जेज को प्रचलित बाजार मुद्रास्फीति से जोडऩे के प्रस्ताव के साथ न्यूनतम पांच प्रतिशत की दर से वृद्धि करने का निर्णय लिया था।
वित्त सचिव दिलीप जावलकर ने इस निर्णय के अनुसार शुक्रवार को शासनादेश जारी किया। वित्त सचिव ने बताया कि अभी तक यूजर चार्जेज में वृद्धि तीन से पांच वर्ष के अंतराल पर की जाती रही है। ऐसी एकमुश्त वृद्धि से शुल्क में बड़ी वृद्धि दिखाई देती है। आम जन पर एकमुश्त बोझ न पड़े, इसे ध्यान में रखकर न्यूनतम पांच प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि की गई है। पुनरीक्षित दरें प्रत्येक वर्ष एक अप्रैल से लागू होंगी। चालू वित्तीय वर्ष में इसे शासनादेश लागू होने की तिथि शुक्रवार से लागू किया गया है। जिन विभागों ने चालू वित्तीय वर्ष में यूजर चार्जेज नहीं बढ़ाए हैं, उनमें यह वृद्धि अब लागू हो जाएगी।
उन्होंने बताया कि किसी विभाग को यूजर चार्ज में पांच प्रतिशत से कम परिवर्तन करना है तो इस संबंध में प्रस्ताव मंत्रिमंडल के समक्ष रखा जाएगा। मंत्रिमंडल की स्वीकृति के बाद ही दरों को कम किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि यूजर चार्जेज में पांच प्रतिशत से अधिक वृद्धि यदि औचित्यपूर्ण एवं व्यवहारिक है तो संबंधित विभाग अपने स्तर से यह कर सकेगा। पुनरीक्षण दर में संबंधित इकाई की संचालन लागत एवं उन्नयन लागत के वहन को सुनिश्चित करना होगा। उन्होंने बताया कि समस्त विभागों को अपने-अपने वेब पोर्टल एप के माध्यम से यूजर चार्जेज को जमा करने के लिए यूपीआइ की सुविधा अनिवार्य रूप से उपलब्ध करानी होगी।

Spread the love

admin

सच की आवाज हिंदी भाषा मे प्रकाशित राष्ट्रीय दैनिक प्रसारण तथा डिजिटल के माध्यम से विश्वसनीय समाचारों, सूचनाओं, सांस्कृतिक एवं नैतिक शिक्षा का प्रसार कर समाज में सकारात्मक बदलाव लाने में प्रयासरत है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *