रावण का पुतला तो जलेगा, लेकिन भक्तों को इसके सीधे दीदार का मौका नहीं मिलेगा।
रामलीला में पुतला दहन का अपना क्रेज है। पुतला दहन के बिना दशहरे की रौनक फीकी लगती है। हल्द्वानी के प्राचीन रामलीला मैदान में अधर्म और अन्याय का प्रतीक रावण का अंत और श्रीराम की विजयश्री देखने के लिए हजारों की भीड़ उमड़ती है। रामलीला भी बिना दर्शकों के मंचित की जाएगी। रावण का पुतला तो जलेगा, लेकिन भक्तों को इसके सीधे दीदार का मौका नहीं मिलेगा। शीशमहल और काठगोदाम में पुतले दहन नहीं होंगे।
शारदीय नवरात्र के साथ शनिवार से रामलीला की शुरुआत होने जा रही है। इस बार शहर में रामलीला सीमित हैं। हल्द्वानी की सबसे प्राचीन दिन की रामलीला की पहले नवरात्र की सुबह ध्वज पूजन के साथ शुरुआत होगी। उसी दिन शाम को व्यास गद्दी व गणेश पूजन के साथ रामलीला की शुरुआत होगी।
इस बार रामलीला का स्वरूप बदला रहेगा। मैदान पर अलग-अलग दरबार सजाने के बजाय एक मंच से रामलीला मंचन किया जाएगा। रामलीला आयोजन समिति से जुड़े विवेक कश्यप से बताया कि रामलीला की तर्ज पर पुतला दहन की परंपरा का निर्वहन किया जाएगा। हालांकि पुतले के आकार पर मंथन होना बाकी है। आतिशबाजी को लेकर भी अभी तक कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है।
केबिल टीवी पर होगा लाइव प्रसारण:
प्राचीन रामलीला का इस बार केबिल टीवी पर लाइव प्रसारण किया जाएगा। फेसबुक के माध्यम से भी प्रसारण दिखाने पर मंथन चल रहा है। आयोजन समिति के सदस्य विवेक कश्यप ने बताया कि रामलीला मैदान के भीतर किसी को भी आने की अनुमति नहीं होगी। पहले दिन से बनी यह व्यवस्था आखिर तक लागू रहेगी। ऐसे में विजयदशमी के दिन भी भक्तों को रामलीला मैदान में आने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
इस बार रामलीला व पुतला दहन नहीं होगा। हमारे यहां दो दशक से पहले से पुतला दहन होता आया है। नवरात्रि के पहले दिन ध्वज पूजन होगा। विजयदशमी को सुंदरकांड व भजन संध्या होगी।
-हरीश पांडे, अध्यक्ष शीशमहल रामलीला कमेटी
पिछले करीब 15 वर्षों में पहली बार पुतला दहन नहीं होगा। पहले नवरात्र को ध्वज पूजन की परंपरा का निर्वहन किया जाएगा। नवरात्रि में प्रत्येक शाम सुंदरकांड और भजन संध्या का आयोजन होगा।
-कुंदन सिंह बिष्ट, अध्यक्ष काठगोदाम रामलीला कमेटी
नगर मजिस्ट्रेट के मातृ शोक पर शोक जताया:
श्री रामलीला संचालन समिति के सदस्यों ने गुरुवार को रामलीला मैदान में शोकसभा आयोजित की। रामलीला कमेटी के रिसीवर व सिटी मजिस्ट्रेट प्रत्यूष सिंह की माता के निधन पर दो मिनट का मौन रखा और दिवंगत आत्मा की शांति की प्रार्थना की। यहां वेद प्रकाश अग्रवाल, पंडित गोपाल भट्ट, प्रेम गुप्ता, भोलानाथ केसरवानी, विवेक कश्यप, तनुज गुप्ता, भवानी शंकर, पार्षद राजेंद्र अग्रवाल, मनोज गुप्ता, अमित जोशी, हितेंद्र पांडे, अनुभव गोयल, हरिमोहन अग्रवाल आदि मौजूद रहे।