आखिर चंद्रमा पर किस कारण से नहीं बनती है बर्फ?
After all, why does ice not form on the Moon?
चंद्रमा पर बर्फ तो है, लेकिन वह वहां पर निर्मित नहीं हुई है, बल्कि कहीं से आई है. वैज्ञानिकों का मानना है कि चंद्रमा पानी प्रचुर मात्रा में भी हो सकता है, लेकिन वहां पर तापामान -130 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाता है फिर भी हैरानी की बात है कि यहां जमा देने वाली ठंड होने पर भी बर्फ नहीं बन पाती है.
चंद्रमा पृथ्वी का एकमात्र प्राकृतिक उपग्रह है. इसकी पृथ्वी की तुलना में खास तरह की दूरी और संबंध अन्य ग्रहों और उनके उपग्रहों की तुलना में बहुत ही अनोखा बना देते हैं. सामान्य तौर पर देखा जाए तो चंद्रमा में ऐसे हालात नहीं है जिससे यहां बर्फ की उपस्थिति हो या यहां बर्फ है. फिर भी कुछ स्थितियां ऐसी भी हैं जो कहती हैं कि यहां बर्फ हो सकती है. ऐसे में सवाल यही है कि आखिर चंद्रमा पर बर्फ क्यों नहीं बन पाती है.
पृथ्वी पर बर्फ होने का सबसे बड़ा कारण है यहां पानी की मौजूदगी और उसका यहां पर स्थिर रह पाना. चंद्रमा पर पहले तो पानी किसी भी रूप में नहीं पाया जाता है. इस पर लंबे समय से शोध बताते हैं कि ऐसा नहीं कि चंद्रमा पर पानी बिलुकल ही नहीं है. बल्कि 2008 में तो चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर बर्फ की उपस्थिति के मजबूत संकेत पाए गए हैं. फिर भी चंद्रमा की सामान्य स्थितियों में पानी नहीं है.
पाया गया है कि चंद्रमा पर बर्फ वहां के ध्रुवीय इलाकों में ऐसी जगह पर बर्फ है जहां पर सूर्य की रोशनी कभी नहीं पहुंचती है. ऐसा खास तौर से ध्रुवों पर स्थित क्रेटर में हो सकता है. क्योंकि अगर चंद्रमा पर बर्फ किसी तरह से पहुंच भी जाए तो दिन की भीषण गर्मी के कारण यहां बर्फ कायम नहीं रह सकती है
वैज्ञानिकों का मानना है कि चंद्रमा पर करोड़ों साल पहले उल्कापिंडों या क्षुद्रग्रहों की बारिश के जरिए बर्फ के रूप में पानी आया होगा और उसमें से काफी मात्रा यहां किसी ना किसी तरह से जमा होगी. लेकिन इसकी संभावना नहीं के बराबर ही है कि चंद्रमा पर बर्फ बनी होगी. क्योंकि यहां के हालात पानी के निर्माण के अनुकूल नहीं हैं.
चंद्रमा पर बर्फ बनने के लिए जरूरी है कि वहां हाइड्रोजन और ऑक्सीजन हों और उनके मिलने की स्थितियां और पानी या बर्फ के टिके रहने के हालात हों. वैसे तो चंद्रमा के वायुमंडल में बहुत ही कम मात्रा में पानी के अणु मिलते हैं. लेकिन दिक्कत यह है कि पानी वायुमंडल की अनुपस्थिति के कारण टिक नहीं पाता है. लेकिन उससे भी पहले हाइड्रोजन और ऑक्सीजन मिल नहीं पाते हैं क्योंकि ऑक्सजीन यहां के वायुमडंल में टिक नहीं सकती है उड़ जाती है जबकि यहां के वायुमडंल में हाइड्रोजन मौजूद रह पाता है.
अगर किसी तरह से पानी बर्फ या भाप बन भी जाए तो सबसे बड़ी समस्या यह है कि चंद्रमा पर अधिकताम तापमान कम से कम 250 डिग्री सेल्सियस का होता है. इस तापमान में बर्फ ना केवल भाप बन कर उड़ जाएगी, बल्कि टूट कर हाइड्रोजन और ऑक्सीजन में बदल जाएगी. और जैसे ही ऑक्सीजन बनी वह वायुमंडल से बाहर चली जाएगी. यही वजह है कि चंद्रमा की सतह पर बर्फ टिक नहीं सकती है.
वैज्ञानिकों ने पाया है कि चंद्रमा पर यहां हाइड्रोजन तो प्रचुर मात्रा में है ही ऑक्सीजन भी कई प्रारूप में मौजूद है. लेकिन दिक्कत यही है कि स्वतंत्र ऑक्सीजन गैस जब किसी तरह से बन भी जाए तो वह वायुमंडल में टिक नहीं सकती है. वैज्ञानिकों को चंद्रमा पर मौजूद सिलिका से नियंत्रित हालात में ऑक्सीजन बनाकर सहेजने की चुनौती होगी.
चंद्रमा पर क्यों नहीं बनती है बर्फ? (Why does ice not form on the Moon)
चंद्रमा पृथ्वी का एकमात्र प्राकृतिक उपग्रह है. इसकी पृथ्वी की तुलना में खास तरह की दूरी और संबंध अन्य ग्रहों और उनके उपग्रहों की तुलना में बहुत ही अनोखा बना देते हैं. सामान्य तौर पर देखा जाए तो चंद्रमा में ऐसे हालात नहीं है जिससे यहां बर्फ की उपस्थिति हो या यहां बर्फ है. फिर भी कुछ स्थितियां ऐसी भी हैं जो कहती हैं कि यहां बर्फ हो सकती है. ऐसे में सवाल यही है कि आखिर चंद्रमा पर बर्फ क्यों नहीं बन पाती है.